Programing kya hai. Programing bhasa kya hoti hai. Programing kaise karte hai. Programing ki jankari hindi me. कंप्यूटर की जानकारी हिंदी में।
प्रोग्रामिंग क्या है-
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आज के पोस्ट में हम यह जानने वाले हैं कि प्रोग्रामिंग लैंग्वेज क्या होती है। तो आइये देखते हैं हमारी यह पोस्ट-
प्रोग्रामिंग लैंग्वेज-
प्रोग्रामिंग लैंग्वेज एक क्रितिम लैंग्वेज होती है जिसे इस प्रकार से तैयार किया जाता है की किसी कार्य के लिए जरूरी अलग अलग संगणनाओं अभिव्यक्त कर सके।
दरसल हम अपने सामान्य जीवन में किसी कार्य को करने का निश्चय करते हैं तो सबसे पहला हमारा काम होता है उस कार्य की रूप रेखा तैयार करना।
क्योंकि जब हमारा कार्य प्रारम्भ हो तो सभी आवश्यक शर्तों का अनुपालन उचित प्रकार से हो यदि कार्य में कोई बाधा आये तो उसे दूर करने के तरीकों पर बिचार कार्य की रूप रेखा तैयार करते समय ही किया जाता है कि क्या बाधाएं आ सकती हैं और कैसे उन्हें दूर किया जा सकता है।
दरसल हम अपने सामान्य जीवन में किसी कार्य को करने का निश्चय करते हैं तो सबसे पहला हमारा काम होता है उस कार्य की रूप रेखा तैयार करना।
क्योंकि जब हमारा कार्य प्रारम्भ हो तो सभी आवश्यक शर्तों का अनुपालन उचित प्रकार से हो यदि कार्य में कोई बाधा आये तो उसे दूर करने के तरीकों पर बिचार कार्य की रूप रेखा तैयार करते समय ही किया जाता है कि क्या बाधाएं आ सकती हैं और कैसे उन्हें दूर किया जा सकता है।
जब कार्य प्रारम्भ होता है तो उसके प्रारम्भ से कार्य के अंत तक हमे हर एक स्टेप पर पुनर्विचार करना पड़ता है।
इसी प्रकार से कंप्यूटर से भी उसके क्षमतानुसार वंछित कार्य कराये जा सकते हैं।
इसके लिए जरूरी है कि कंप्यूटर को निश्चित तकनीकी व् क्रम में निर्देश दिए जाएं। ताकि कंप्यूटर इन निर्देशों का अनुपालन कराकर वंछित कार्य को सम्पन्न कर सके।
सामान्य बोल चाल की भाषा में इसे ही प्रोग्रामिंग कहते हैं।
प्रोग्रामिंग भाषा का प्रयोग मुख्यतः कंप्यूटर द्वारा ही किया जाता है अन्य मशीनों पर भी प्रोग्रामिंग भाषा का उपयोग होता है।
प्रोग्रामिंग भाषा का प्रयोग हम मुख्यतः किसी प्रोग्राम को लिखने के लिए कलन विधियों को सही रूप में प्रस्तुत करने के लिए या मानव संचार के एक साधन के रूप में भी करते हैं-
प्रोग्रामिंग के चरण-
जब हम किसी प्रोग्राम की प्रोग्रामिंग करने जाते हैं तो सबसे पहले प्रोगाम के निर्देष्टिकरण को अच्छे से समझना जरूरी है। प्रोग्राम में प्रयोग की गयी समस्त शर्तों का पालन सही से हो रहा है या नहीं यह भी भली भांति जाँच लिया जाता है। अब जरूरत है प्रोग्राम की डिजाइनिंग करने की इसमें प्रोग्राम को प्रारम्भ करने से लेकर प्रोग्राम से वंछित परिणाम प्राप्त होने तक के सभी निर्देशों को क्रमबद्ध कर लिया जाता है।
प्रोग्राम डिजाईन को पूरी तरह से जांचने के बाद प्रोग्रान की कोडिंग की जाती है और प्रोग्राम को कम्पाइल किया जाता है।
प्रोग्राम में टेक्स्ट डाटा इनपुट करके प्रोग्राम की जाँच की जाती है कि वास्तव में परिणाम सही प्राप्त हो रहा है या नहीं। अगर परिणाम सही प्राप्त नहीं होता है तो इसका अर्थ हुआ की प्रोग्राम में किसी निर्देश का क्रम गलत है या निर्देश किसी स्थान पर गलत दिया गया है। अगर परिणाम सही प्राप्त होता है तो प्रोग्राम में दिए हुए निर्देशों को क्रम में एकबद्ध कर लिया जाता है। और दिए हुए निर्देशों के इसी क्रम को कंप्यूटर में स्थापित कर दिया जाता है। ऐसे ही हमारी प्रोग्रामिंग की प्रक्रिया पूरी होती है।
कंप्यूटर को निर्देश कैसे दें-
प्रोग्रामिंग के लिए जरूरी होता है कंप्यूटर को निर्देश देने और निर्देश में एक भी गलती हो गयी तो हमे रिज़ल्ट नहीं मिलेगा इसके लिए जरूरी है यह समझना की कंप्यूटर को निर्देश कैसे देते हैं।
कंप्यूटर को निर्देश योजनाबद्ध रूप में और स्पष्ट भाषा में विस्तार से देना अत्यंत आवश्यक है।
कंप्यूटर को कार्य विशेष करने के लिए जरूरी हैं एक प्रोग्राम बना कर देना। हमारा दिया हुआ प्रोग्राम जितना स्पष्ट , सटीक , विस्तृत होगा कंप्यूटर उतनी ही कम गलतियां करेगा और सुचारू रूप से कार्य करेगा और परिणाम हमे सही प्राप्त होगा।
अगर कंप्यूटर को दिए जाने वाले निर्देश सही नहीं होंगे तो हो सकता है कंप्यूटर बिना परिणाम निकाले ही गड़ना करता रहे और उससे जो परिणाम निकले वह भी अस्पष्ट हो। अगर आप कंप्यूटर पर कोई भी प्रोग्राम बनाते हैं तो जरूरी है कुछ बातों पर ध्यान देना-
# समस्या का सावधानीपूर्वक अध्ययन करके निर्देशों को एक निश्चित क्रम में क्रमबद्ध करना।
# निर्देश को इंटर करते समय यह आपको ज्ञात हो की यह निर्देश कौन से कार्य के लिए आप दे रहें हैं यानी प्रत्येक निर्देश एक निश्चित कार्य करने के लिए हो।
# निर्देशों को इस प्रकार से लिखना की उनका अक्षरशः पालन करने पर समस्या का हल निकाला जा सके।
# निर्देशों का एक रूप रेखा तैयार करना।
{ इस समय लगभग 2400 प्रोग्रामिंग भाषाएं मौजूद हैं कुछ प्रोग्रामिंग भाषाएं इस प्रकार से हैं-
जावा ,C , C++ , बेसिक , पास्कल , फ्रोट्रांन आदि}
जावा ,C , C++ , बेसिक , पास्कल , फ्रोट्रांन आदि}
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